देश की खबरें | विरोध प्रदर्शन के बाद पहली बार 30 दिसंबर को संदेशखाली का दौरा करेंगी ममता
Get Latest हिन्दी समाचार, Breaking News on India at LatestLY हिन्दी. पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने बृहस्पतिवार को कहा कि वह 30 दिसंबर को सार्वजनिक वितरण प्रणाली के एक कार्यक्रम में भाग लेने के लिए उत्तर 24 परगना जिले के संदेशखाली का दौरा करेंगी।
कोलकाता, 26 दिसंबर पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने बृहस्पतिवार को कहा कि वह 30 दिसंबर को सार्वजनिक वितरण प्रणाली के एक कार्यक्रम में भाग लेने के लिए उत्तर 24 परगना जिले के संदेशखाली का दौरा करेंगी।
संदेशखाली में इस वर्ष की शुरुआत में हुए विरोध प्रदर्शन के बाद सुंदरबन की सीमा पर स्थित इस द्वीप पर ममता की यह पहली यात्रा होगी। इस वर्ष की शुरुआत में तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) के स्थानीय नेताओं द्वारा कथित तौर पर जमीन हड़पने और महिलाओं के यौन उत्पीड़न को लेकर इस क्षेत्र में बड़े पैमाने पर विरोध प्रदर्शन हुए थे।
मुख्यमंत्री ने यहां राज्य सचिवालय नबन्ना में संवाददाताओं से कहा, ‘‘मैं 30 दिसंबर को संदेशखाली में सार्वजनिक वितरण प्रणाली के एक कार्यक्रम में भाग लेने जा रही हूं। चुनाव से पहले लोगों ने मुझसे पूछा था कि मैं संदेशखाली आऊंगी या नहीं। मैंने उनसे कहा था कि मैं बाद में जाऊंगी।’’
उन्होंने कहा, ‘‘ यह एक सरकारी कार्यक्रम होगा। हमने 'लक्ष्मी भंडार', 'बांग्लार बाड़ी' और अन्य योजनाओं के तहत कई लंबित कार्यक्रमों को पूरा किया है। क्षेत्र के लगभग 20,000 लाभार्थियों को विभिन्न सरकारी योजनाओं से लाभ मिलेगा। मुझे उम्मीद है कि मैं मंच से लगभग 100 लोगों को विभिन्न योजनाओं के प्रमाण पत्र सौंपूंगी।’’
बनर्जी ने कहा कि वह अगले वर्ष दो जनवरी को नबन्ना में एक प्रशासनिक समीक्षा बैठक करेंगी तथा छह जनवरी को वार्षिक गंगा सागर मेले की तैयारियों की समीक्षा के लिए सागर द्वीप के लिए रवाना होंगी।
वापस लौटने पर वह आठ जनवरी को कोलकाता के बाबूघाट क्षेत्र में राज्य परिवहन विभाग के 'ई-वेसल' का उद्घाटन करेंगी।
बनर्जी ने पहले कहा था कि वह लोकसभा चुनाव जीतने के बाद ही संदेशखाली का दौरा करेंगी।
इस वर्ष जनवरी में जब ईडी अधिकारी करोड़ों रुपये के राशन वितरण घोटाले के सिलसिले में छापेमारी करने संदेशखाली में स्थानीय टीएमसी नेता शेख शाहजहां के आवास पर गए थे तो ईडी की टीम पर हमला किया गया और उनके वाहनों को क्षतिग्रस्त कर दिया गया था।
इसके बाद क्षेत्र की कई महिलाओं ने दावा किया कि शाहजहां और उसके कुछ आदमियों ने जमीन के बड़े हिस्से पर कब्जा कर लिया है और उनका यौन उत्पीड़न किया है।
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