देश की खबरें | केरल सरकार ने मनरेगा योजना में नए प्रतिबंध की आलोचना की
Get Latest हिन्दी समाचार, Breaking News on India at LatestLY हिन्दी. केरल सरकार ने केंद्र से महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी अधिनियम (मनरेगा) योजना के तहत होने वाले समानांतर कार्यों को सीमित करने के फैसले को रद्द करने का आग्रह किया है।
तिरुवनंतपुरम, तीन अगस्त केरल सरकार ने केंद्र से महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी अधिनियम (मनरेगा) योजना के तहत होने वाले समानांतर कार्यों को सीमित करने के फैसले को रद्द करने का आग्रह किया है।
इसने कहा कि इससे ग्रामीण अर्थव्यवस्था बुरी तरह प्रभावित होगी, जो पहले ही कोविड-19 वैश्विक महामारी के कारण उत्पन्न संकट से उबरने की कोशिश कर रही है।
केंद्र के फैसले की आलोचना करते हुए राज्य के स्थानीय स्वशासन विभाग मंत्री एमवी गोविंदन ने कहा कि यह फैसला केरल में मौजूदा परिस्थितियों पर गौर किए बिना लिया गया, जो योजना के क्रियान्वयन में शीर्ष पर है।
उन्होंने कहा कि इससे न केवल मजदूरों को लिए परेशानी खड़ी होगी, बल्कि दक्षिणी राज्य में योजना के क्रियान्वयन पर भी प्रतिकूल प्रभाव पड़ेगा।
राज्य सरकार ने फैसले के संबंध में अपनी चिंताओं से अवगत कराने के लिए केंद्रीय ग्रामीण विकास मंत्रालय को एक पत्र भी भेजा है।
मंत्री ने एक बयान में कहा, ‘‘ केंद्र के फैसले से ग्रामीण अर्थव्यवस्था बुरी तरह प्रभावित होगी, जो पहले ही कोविड-19 वैश्विक महामारी के कारण उत्पन्न संकट से उबरने की कोशिश कर रही है। केंद्र को मजदूरों के लिए परेशानी खड़े करने वाले इस फैसले को वापस लेना चाहिए।’’
उन्होंने कहा कि यह आदेश कि समानांतर रूप से केवल 20 कार्यों की अनुमति दी जा सकती है, श्रम क्षेत्र के साथ-साथ स्थानीय वित्तीय क्षेत्र के लिए भी समस्याएं पैदा करेगा।
मंत्री ने कहा, ‘‘ यह फैसला मनरेगा के इन आधारभूत सिद्धांतों के खिलाफ है कि उन परिवारों को 100 दिन का रोजगार मुहैया कराया जाए, जो इसकी मांग करते हैं।’’
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