
नयी दिल्ली, 13 जनवरी राष्ट्रीय समुद्र विज्ञान संस्थान और राष्ट्रीय भूभौतिकीय अनुसंधान संस्थान ने रूस के वीआई इलिचेव पैसेफिक ओसीनोलॉजिकल इंस्टीट्यूट के साथ समुद्री विज्ञान और प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में सहयोग के लिये एक सहमति पत्र पर हस्ताक्षर किये हैं। सीएसआईआर ने बुधवार को यह जानकारी दी।
बयान में कहा गया कि इस करार से भारत और रूस के वैज्ञानिकों को समुद्री विज्ञान व प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में अपनी क्षमता व कौशल के विकास के अवसर उपलब्ध होंगे। दोनों देशों की राष्ट्रीय अर्थव्यवस्था के हितों से जुड़े सतत विकास के क्षेत्रों में ज्ञान व विशेषज्ञता को साझा करना का मौका भी इससे वैज्ञानिकों को प्राप्त होगा।
बयान के मुताबिक, “यह सहमति-पत्र समुद्री प्रदूषण और जलवायु परिवर्तन से लड़ने , समुद्री संसाधनों और पर्यावरण की खोज, अध्ययन व निगरानी से जुड़ी वैज्ञानिक पहलों के आयोजन में सहयोग को मजबूत करेगा…।”
वीआई इलिचेव पैसेफिक ओसीनोलॉजिकल इंस्टीट्यूट असल में रूसी विज्ञान अकादमी का पूर्व में सबसे बड़ा शोध संस्थान है। अकादमी की कुल 31 शोध इकाइयां हैं जो अत्याधुनिक उपकरणों से सुसज्जित हैं।
वैज्ञानिक एवं औद्योगिक अनुसंधान परिषद (सीएसआईआर) के गोवा स्थित राष्ट्रीय समुद्र विज्ञान संस्थान और हैदराबाद स्थित राष्ट्रीय भूभौतिकीय अनुसंधान संस्थान क्रमश: समुद्र एवं पृथ्वी विज्ञान क्षेत्र के प्रख्यात संस्थान हैं।
इस सहमति पत्र पर दोनों संस्थानों के प्रमुखों द्वारा 12 जनवरी को डिजिटल हस्ताक्षर किये गए।
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