जरुरी जानकारी | चालू वित्त वर्ष के लिए सात प्रतिशत वृद्धि का अनुमान वास्तविकता के करीब: सीईए

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नयी दिल्ली, 28 फरवरी मुख्य आर्थिक सलाहकार (सीईए) वी अनंत नागेश्वरन ने कहा है कि वित्त वर्ष 2022-23 में सात प्रतिशत की आर्थिक वृद्धि दर हासिल करने के लिए भारतीय अर्थव्यवस्था को मार्च तिमाही में 4-4.1 प्रतिशत की दर से ही बढ़ने की जरूरत होगी।

नागेश्वरन ने मंगलवार को चालू वित्त वर्ष की तीसरी तिमाही के सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) की वृद्धि दर के आंकड़े आने के बाद यह बात कही।

नागेश्वरन ने कहा कि चालू वित्त वर्ष के लिए सात प्रतिशत की वृद्धि दर का अनुमान हासिल होने योग्य है। उन्होंने कहा कि इस बात के पर्याप्त संकेत हैं कि विनिर्माण क्षेत्र की सेहत ठीक है, लेकिन देश को अल नीनो और मौसम संबंधी अनिश्चितताओं से जूझने के लिए तैयार रहना होगा।

उन्होंने कहा कि सात प्रतिशत की वार्षिक वृद्धि दर हासिल करने के लिए चौथी तिमाही में 4-4.1 प्रतिशत की वृद्धि दर की ही जरूरत है।

चालू वित्त वर्ष की जून तिमाही में भारतीय अर्थव्यवस्था 19.5 प्रतिशत की दर से बढ़ी थी। सितंबर तिमाही में वृद्धि दर 23.9 प्रतिशत रही थी। राष्ट्रीय सांख्यिकी कार्यालय (एनएसओ) द्वारा मंगलवार को जारी आंकड़ों के अनुसार, अक्टूबर-दिसंबर तिमाही में वृद्धि दर घटकर 4.4 प्रतिशत पर आ गई। मुख्य रूप से विनिर्माण क्षेत्र में गिरावट से वृद्धि दर घटी है। तीसरी तिमाही में विनिर्माण क्षेत्र के उत्पादन में 1.1 प्रतिशत की गिरावट आई है।

हालांकि नागेश्वरन ने कहा, ‘‘विनिर्माण क्षेत्र की सेहत अच्छी है। विभिन्न क्षेत्रों के आंकड़ों में अच्छी वृद्धि देखने को मिल रही है।’’

उन्होंने कहा कि चालू वित्त वर्ष में वस्तुओं और सेवाओं का निर्यात बढ़कर 750 अरब डॉलर पर पहुंचने का अनुमान है। पिछले वित्त वर्ष में यह 680 अरब डॉलर रहा था।

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