America: काबुल में ड्रोन हमला गलती थी, मैं माफी मांगता हूं - शीर्ष अमेरिकी सैन्य कमांडर
अमेरिका के एक शीर्ष सैन्य कमांडर ने काबुल हवाईअड्डे पर पिछले महीने हुए आत्मघाती धमाके के कुछ दिनों बाद ‘आईएसआईएस-के’के आतंकवादियों को निशाना बनाते हुए किए गए ड्रोन हमले को ‘‘गलती’’ के रूप में स्वीकार किया है. इस हमले में सात बच्चों समेत 10 नागरिक मारे गए थे.
वाशिंगटन, 18 सितंबर : अमेरिका (America) के एक शीर्ष सैन्य कमांडर ने काबुल हवाईअड्डे पर पिछले महीने हुए आत्मघाती धमाके के कुछ दिनों बाद ‘आईएसआईएस-के’के आतंकवादियों को निशाना बनाते हुए किए गए ड्रोन हमले को ‘‘गलती’’ के रूप में स्वीकार किया है. इस हमले में सात बच्चों समेत 10 नागरिक मारे गए थे. अमेरिका के मध्य कमान के कमांडर जनरल फ्रैंक मैक्केंजी ने 29 अगस्त के हमले की जांच के नतीजों पर पत्रकारों से यह भी कहा कि ड्रोन हमले में क्षतिग्रस्त हुए वाहन और मारे गए लोगों के इस्लामिक स्टेट ऑफ इराक एंड लेवांत-खुरासन (आईएसआईएस-के) से जुड़े होने या अमेरिकी सेना के लिए कोई प्रत्यक्ष खतरा होने की आशंका नहीं थी. उन्होंने कहा कि हालांकि इस हमले को इस्लामिक स्टेट के हमले के बाद हामिद करजई अंतरराष्ट्रीय हवाईअड्डे पर जमीनी हालात के संदर्भ में ही समझा जाए. हवाईअड्डे पर हुए हमले में अमेरिका के 13 सैनिक मारे गए थे और 100 से अधिक नागरिकों ने जान गंवाई थी. साथ ही खुफिया अधिकारियों ने एक और आसन्न हमले का संकेत दिया था.
जनरल मैक्केंजी ने कहा कि जांच के नतीजों की विस्तार से समीक्षा करने के बाद वह इस बात से सहमत हैं कि सात बच्चों समेत 10 नागरिक उस ड्रोन हमले में मारे गए,जो दुखद है. उन्होंने पेंटागन में एक संवाददाता सम्मेलन में पत्रकारों से कहा, ‘‘यह गलती थी और मैं माफी मांगता हूं. कमांडर होने के नाते मैं इस हमले और इसके दुखद परिणाम के लिए पूरी तरह जिम्मेदार हूं. साथ ही हम यह मानते हैं कि क्षतिग्रस्त हुआ वाहन और मारे गए लोगों का आईएसआईएस-के से संबंध होने या अमेरिकी सेना के लिए प्रत्यक्ष रूप से खतरा होने की आशंका नहीं थी. मैं इस हमले में मारे गए लोगों के परिवार और दोस्तों के प्रति शोक व्यक्त करता हूं.’’ जनरल मैक्केंजी ने कहा कि हमले से 48 घंटे पहले खुफिया जानकारी में यह संकेत मिला कि इस परिसर का इस्तेमाल इस्लामिक स्टेट के आतंकवादी भविष्य के हमलों के लिए कर रहे हैं. उन्होंने कहा, ‘‘हमले से 36 घंटे पहले हवाईअड्डे पर अधिकारियों को आसन्न खतरों से संबंधित 60 अलग-अलग खुफिया जानकारी मिली.’’ यह भी पढ़ें : Jharkhand: पाकुड़ में अवैध लॉटरी का भंडाफोड़, लगभग डेढ़ लाख रूपये नकद जब्त
उन्होंने बताया कि अधिकारियों को खुफिया सूचना मिली कि इस्लामिक स्टेट अगले हमले में सफेद रंग की टोयोटा कोरोला कार का इस्तेमाल करेगा, जिसके बाद 29 अगस्त की सुबह परिसर की निगरानी तेज कर दी गयी. उन्होंने कहा कि जांच में अब सामने आया कि यह हमला एक गलती थी. उन्होंने कहा, ‘‘पहले मैं यह बता दूं कि यह जल्दबाजी में किया गया हमला नहीं था. अधिकारियों ने वाहन और उसमें सवार लोगों पर करीब आठ घंटे तक नजर रखी थी. सैन्य दल ने यह हमला इस विश्वास के साथ किया कि वे हमारी सेना और नागरिकों पर आसन्न खतरे को रोक रहे हैं जो अब हमे लगता है कि सही नहीं था.’’ जनरल मैक्केंजी ने कहा, ‘‘मैं आज यहां तथ्यों को सामने रखने और हमारी गलतियां स्वीकार करने आया हूं. अंत में मैं यही कहूंगा कि इस हमले में मारे गए लोगों के परिवार और दोस्तों के प्रति संवदेनाएं व्यक्त करता हूं.’’ उन्होंने कहा कि अमेरिका मुआवजा देने की संभावनाएं भी तलाश रहा है.