श्रीहरिकोटा (आंध्र प्रदेश), 28 फरवरी : भारत ने रविवार सुबह अपने पीएसएलवी रॉकेट (PSLV Rocket) को सफलतापूर्वक लॉन्च कर दिया. इससे 19 उपग्रह अंतरिक्ष में भेजे गए हैं, जिसमें से धरती की देखरेख करने वाला ब्राजील का सैटेलाइट अमेजोनिया-1 भी शामिल हैं. भारत के ध्रुवीय उपग्रह प्रक्षेपण यान पीएसएलवी-सी51 (PSLV-C51) को सुबह 10.24 मिनट पर प्रक्षेपित किया गया. 44.4 मीटर लंबे पीएसएलवी-सी51 ने भारत सहित विदेशों के कुल 19 उपग्रहों के साथ अंतरिक्ष में अपनी उड़ान भरी. उड़ान भरने के महज सत्रह मिनट में ही रॉकेट ने अपने पहले यात्री अमेजोनिया-1 को इसके गंतव्य सूर्य समकालिक कक्षा में पहुंचा दिया.
#WATCH ISRO's PSLV-C51 carrying Amazonia-1 and 18 other satellites lifts off from Satish Dhawan Space Centre, Sriharikota pic.twitter.com/jtyQUYi1O0
— ANI (@ANI) February 28, 2021
नेशनल इंस्टीट्यूट फॉर स्पेस रिसर्च (INPE) द्वारा निर्मित यह सैटेलाइट अमेजन क्षेत्र में वनों की कटाई की निगरानी और ब्राजील के लिए विविध कृषि के विश्लेषण के लिए उपयोगकर्ताओं को दूरस्थ संवेदी आंकड़े मुहैया कराएगा. इसी के साथ भारत द्वारा अंतरिक्ष में लॉन्च किए गए विदेशी उपग्रहों की संख्या 329 हो गई है और अगर सबकुछ सही रहा तो भारत कुल 342 विदेशी उपग्रहों की परिक्रमा करते हुए अपने इस मिशन को खत्म करेगा. यह भी पढ़ें : VIDEO: भगवद गीता और पीएम मोदी की तस्वीर लेकर अंतरिक्ष में रवाना हुआ पीएसएलवी रॉकेट, ISRO ने रचा इतिहास
साल 2021 में भारत का यह पहला अंतरिक्ष अभियान पीएसएलवी रॉकेट के लिए काफी लंबा होगा क्योंकि इसके उड़ान की समय सीमा 1 घंटा, 55 मिनट और 7 सेकेंड की होगी. 18 अन्य सैटेलाइट्स में से चार इन-स्पेस से हैं. इनमें से तीन भारतीय शैक्षणिक संस्थानों के संघ यूनिटीसैट्स से हैं, जिनमें श्रीपेरंबदुर में स्थित जेप्पिआर इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी, नागपुर में स्थित जी. एच. रायसोनी कॉलेज ऑफ इंजीनियरिंग और कोयंबटूर में स्थित श्री शक्ति इंस्टीट्यूट ऑफ इंजीनियरिंग एंड टेक्नोलॉजी शामिल हैं. एक का निर्माण सतीश धवन सैटेलाइट स्पेस किड्ज इंडिया द्वारा किया गया है और 14 एनएसआईएल से हैं.