कैराना लोकसभा सीट 2019 के चुनाव परिणाम: जानें उत्तर प्रदेश की इस सीट से कौन बन रहा है सांसद

देश में जैसे-जैसे लोकसभा चुनाव के दिन नजदीक आ रहे हैं, वैसे-वैसे चुनावी माहौल गर्म होता जा रहा है. हर बार की तरह इस बार भी देश में मुख्य मुकाबला सत्ताधारी बीजेपी (BJP) और मुख्य विपक्षीय दल कांग्रेस (Indian National Congress) के बीच हैं.

सपा और बीजेपी (Photo Credits: File Photo)

 Kairana Lok Sabha Election Results 2019: देश में 19 मई यानि रविवार को सातवें और आखिरी चरण के लिए चुनाव संपन्न हुआ. मतदान के बाद अब शुरुआती रुझान आने शुरू हो गए हैं. अगर बात करें उत्तर प्रदेश के कैराना लोकसभा सीट की तो यहां पर भारतीय जनता पार्टी (Bharatiya Janata Party) के प्रदीप चौधरी और महागठबंधन की समाजवादी पार्टी (Samajwadi Party) प्रत्याशी तबस्सुम हसन (Begum Tabassum Hasan) की बीच कड़ी टक्कर चल रही है. लोकसभा चुनावों के लिहाज से उत्तर प्रदेश में सबसे ज्यादा 80 लोकसभा सीट हैं. प्रदेश में सातों चरणों में मतदान किए गए थे.

बता दें कि पश्चिमी उत्तर प्रदेश के अंतर्गत कैराना लोकसभा सीट राजनीतिक लिहाज से काफी अहम सीट मानी जाती है. इस सीट से 2014 लोकसभा चुनाव में भारतीय जनता पार्टी के हुकुम सिंह (Hukum Singh) ने जीत दर्ज की थी. इस चुनाव में हुकुम सिंह को 5,65,909 (50.54%) वोट मिले थे. वहीं सपा के नाहिद हसन को 3,29,081 (29.49%), बसपा के कंवर हसन को 1,60,414 (14.33%) और आरएलडी के करतार सिंह बढ़ाना को 42,706 (3.81%) मत मिले थे.

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बता दें कि पिछले लोकसभा चुनाव में कैराना (Kairana) सीट से विजय हासिल करने वाले बीजेपी के दिग्गज नेता हुकुम सिंह की मृत्यु हो चुकी है. उनके निधन के बाद 2018 में हुए उपचुनाव में संयुक्त विपक्ष के उम्मीदवार ने भारतीय जनता पार्टी को मात दी और समूचे देश को बड़ा संदेश भेजा. राष्ट्रीय लोकदल की उम्मीदवार तबस्सुम हसन को समाजवादी पार्टी, बहुजन समाज पार्टी और कांग्रेस ने समर्थन दिया था. 2017 में प्रचंड बहुमत के साथ उत्तर प्रदेश की सत्ता में आने वाली बीजेपी के लिए इस हार को बड़े झटके के तौर पर देखा गया था.

बता दें कि कैराना संसदीय क्षेत्र जाट और मुस्लिम वोटरों से प्रभावित क्षेत्र है. 2018 में उपचुनाव में विपक्ष ने एकता दिखाते हुए बीजेपी के खिलाफ संयुक्त उम्मीदवार उतारा था. गोरखपुर-फूलपुर फॉर्मूले के तहत तबस्सुम हसन को मौका दिया गया और भारतीय जनता पार्टी की ओर से हुकुम सिंह की बेटी मृगांका सिंह को मैदान में उतारा गया था. लेकिन बीजेपी का इमोशनल कार्ड नहीं चल पाया. उपचुनाव से पहले और विधानसभा चुनाव के दौरान कैराना में पलायन के मुद्दे ने काफी सुर्खियां बटोरीं थीं.

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कैराना लोकसभा संसदीय क्षेत्र से इस बार चुनावी मैदान में जहां सपा से तबस्सुम हसन (Begum Tabassum Hasan) है वहीं सत्ताधारी भारतीय जनता पार्टी ने प्रदीप चौधरी को मैदान में उतारा है. कांग्रेस के लिए हरेंदर मलिक ने इस क्षेत्र से ताल ठोकी है.

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