Maharashtra: एसटी ड्राइवर की बस के स्टीयरिंग व्हील पर हुई मौत, लेकिन  मरने से पहले उसने बचाई 25 यात्रियों की जान
महाराष्ट्र राज्य सड़क परिवहन निगम की बस (Photo Credits: Facebook)

सातारा: अब तक आपने सेना में ही यह देखा होगा कि सैनिक अपनी जिंदगी से ज्यादा अपने कर्तव्य को महत्व देते हैं. इस बीच एक बस ड्राइवर (Bus Driver) ने भी अपने जीवन से ज्यादा अपने कर्तव्य को महत्व देकर अद्भुत उदाहरण पेश किया है. दरअसल, महाराष्ट्र (Maharashtra) के एसटी सर्कल (ST Circle) के चालक ने बस के स्टीयरिंग व्हील पर अपनी जान गंवा दी, लेकिन मरने से पहले उन्होंने बस में सवार 25 लोगों की जिंदगी बचाई. यह घटना पुरंदर तालुका के राजगढ़ के पास हुई और ड्राइवर का नाम जलिंदर रंगराव पवार (Jalinder Rangrao Pawar) बताया जा रहा है. यह भी पढ़ें: Pune: FTII के हॉस्टल में 32 साल के छात्र का शव कमरे में लटकता हुआ पाया गया, सुसाइड की आशंका

इस मामले में पुलिस द्वारा दी गई जानकारी के मुताबिक, 3 अगस्त को वसई-म्हसवड (सातारा) एसटी बस (एमएच 14, बीटी 3341) दोपहर करीब डेढ़ बजे स्वारगेट स्टेशन पहुंची, वहां ड्राइवर को बदल दिया गया, फिर इस बस को 45 वर्षीय जलिंदर रंगराव पवार चलाने लगे और बस म्हसवड की तरफ रवाना हुई. जब बस पुणे-सतारा हाईवे पर खेड़-शिवपुर टोल बूथ के पास पहुंची तो अचानक से उसकी रफ्तार धीमी हो गई.

बस की रफ्तार धीमी होते ही उनके साथी संतोष गवली उनके पास पहुंचे और पूछा कि उन्होंने बस धीमी क्यों कर दी. तब पवार का चेहरा पसीने से भीगा हुआ था और उन्होंने कहा कि उन्हें चक्कर आ रहा है. इस असहनीय वेदना के बावजूद उन्होंने बस के स्टीयरिंग व्हील से अपना नियंत्रण नहीं छोड़ा और धीरे-धीरे बस को सड़क की बाईं ओर घुमाया और सुरक्षित जगह पर ले आए. उस समय उन्हें अपने सीने में भारी दर्द महसूस हुआ और उन्होंने अपना सिर स्टीयरिंग व्हील पर रख दिया.

उनके साथ गवली उन्हें उठाने के लिए केबिन में पहुंचे और उन्हें जगाने की कोशिश की, लेकिन वो नहीं उठे. तब एक यात्री ने बस को अपने नियंत्रण में ले लिया और तुरंत 25 यात्रियों के साथ बस को पास के नसरापुर के सिद्धिविनायक अस्पताल ले जाया गया. एसटी में सवार सभी यात्रियों को लगा कि शायद ड्राइवर को हार्ट अटैक आया है, इसलिए उन्हें इलाज के लिए अस्पताल ले जाया गया, लेकिन अस्पताल पहुंचने से पहले ही बस ड्राइवर जलिंदर पवार ने दम तोड़ दिया था. यह भी पढ़ें: Maharashtra: दुष्कर्म के मामले में शिवसेना नेता केदार दीघे के ‘दोस्त’ के खिलाफ लुकआउट नोटिस

गौरतलब है दिल का दौरा पड़ने के बावजूद जलिंदर ने यात्रियों की जान बचाने के लिए जद्दोजहद की और 25 यात्रियों की जान बचाने के बाद उन्होंने स्टीयरिंग व्हील पर ही दम तोड़ दिया. मौत के बाद अस्पताल में उनके मृत शरीर का पोस्ट मार्टम किया गया और बाद में शव परिजनों को सौंप दिया गया.