सस्‍ती और प्रदूषण-मुक्‍त एनर्जी के लिए भारत दुनिया के लिए बनेगा रोल मॉडल, मीडिया रिपोर्ट गलत
नवीकरणीय ऊर्जा (Photo Credits: IANS)

नई दिल्ली: आने वाले समय में सस्‍ती और प्रदूषण-मुक्‍त एनर्जी (Clean Energy) के क्षेत्र में भारत नया कीर्तिमान स्थापित करने वाला है. नवीन और नवीकरणीय ऊर्जा मंत्रालय ने एक बयान में कहा कि साल 2022 तक भारत 1 लाख 75 हजार मेगावाट के नवीकरणीय उर्जा (Renewable Energy) के लक्ष्‍य को हासिल कर लेगा. इसके साथ ही मंत्रालय ने इस संबंध में क्रिसिल रिपोर्ट पर आधारित मीडिया की खबरों का भी खंडन किया है.

अधिकारिक बयान के अनुसार इस लक्ष्‍य को प्राप्‍त न करने संबंधी रिपोर्ट आधारहीन है और सच्चाई बयां नहीं करती है. यह रिपोर्ट विश्‍वसनीय नहीं है. सितंबर 2019 के अंत तक भारत में 82,580 मेगावाट नवीकरणीय ऊर्जा क्षमता की स्‍थापना की जा चुकी है और 31,150 मेगावाट के लिए काम चल रहा है.

मार्च 2014 से भारत की नवीकरणीय ऊर्जा क्षमता 138 प्रतिशत की वृद्धि के साथ 34,000 मेगावाट से बढ़कर 82,580 मेगावाट हो गई है. विश्‍वभर में भारत सौर ऊर्जा में पांचवें स्‍थान पर, पवन ऊर्जा में चौथे और कुल नवीकरणीय ऊर्जा स्‍थापित क्षमता में चौथे स्‍थान पर है.

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वहीं, 2021 की पहली तिमाही तक भारत 1,13,000 मेगावाट नवीकरणीय ऊर्जा की स्‍थापना कर चुका होगा. यह लक्षित क्षमता का लगभग 65 प्रतिशत होगा. इसके अतिरिक्‍त 49,000 मेगावाट क्षमता की विभिन्‍न परियोजनाएं बोली के विभिन्‍न चरणों में हैं जिन्‍हें सितंबर 2021 तक स्‍थापित कर दिया जायेगा. इससे कुल लक्ष्‍य के 87 प्रतिशत से अधिक क्षमता की स्‍थापना हो सकेगी.

सौर और पवन ऊर्जा के शुल्‍क में महत्‍वपूर्ण कमी देखी गई हैं. वर्ष 2016 में जहां पवन ऊर्जा 4.18 रुपए की दर पर थी वह गत वर्ष घटकर 2.43 रुपए रह गई और यह आज भी 2.75 प्रति यूनिट से कम है. सौर टेरिफ 4.43 रुपए प्रति यूनिट (वीजीएफ के साथ) से घटकर 2.44 रुपए प्रति यूनिट रह गई है.