गाजियाबाद, 4 अगस्त : गाजियाबाद के कौशांबी में भूमिगत पानी जांच में फेल हो जाने के बाद जिलाधिकारी ने सबंधित अधिकारीयों की बैठक बुलाकर जांच कराने के आदेश दिए हैं. आगामी कुछ दिनों में गठित टास्क फोर्स पानी के सैंपल लेकर जांच के लिए भेजेगा. दरअसल, दिल्ली की एक लैब में कौशांबी अपार्टमेंट रेसिडेंट वेलफेयर एसोसिएशन (कारवां) ने पानी की जांच कराई, जिसमें क्लोराइड की मात्रा दोगुनी और टीडीएस की मात्रा चार गुना पाई गई है. यह पानी के सैंपल कामदगिरी, विंध्याचल और सुमेरू टावर से लिए गए थे.
कमला नेहरू नगर स्थित नेशनल टेस्ट हाउस और दिल्ली की एक लैब में इसकी जांच कराई गई. वहीं जांच में पानी के तीनों सैम्पल फेल हो गए. हालांकि मीडिया में खबरें आने के बाद जिलाधिकारी राकेश कुमार सिंह ने बुधवार को एक बैठक बुलाई जिसमें उत्तरप्रदेश प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के रिजनल ऑफिसर के अलावा अन्य सबंधित अधिकारी शामिल रहे. बैठक में डीएम ने कहा है कि पानी के दोबारा सैंपल लेकर जांच कराएं. वहीं एक महीने में रिपोर्ट सौंपने को कहा है. यह भी पढ़ें : कर्नाटक उच्च न्यायालय ने आईएएस अधिकारी जे मंजूनाथ की जमानत याचिका खारिज की
बैठक में यह साफ कर दिया है, कौशांबी में कारवां अंतर्गत आने वाली सभी सोसाइटी में रेन वाटर हार्वेस्टिंग सिस्टम बनवाएं. जितना अधिक जल संचय किया जाएगा, उतना ही अधिक भूजल साफ होगा. इससे पहले (कारवां) की ओर से सभी अपार्टमेंट्स में गाइडलाइन जारी की गई थी कि लोग भूमिगत पानी को पीने के प्रयोग में न लाएं, वरना कैंसर, किडनी और लीवर की बीमारी से ग्रसित हो सकते हैं.