देश की खबरें | व्यापारियों ने आग के लिए खराब बुनियादी ढांचे को जिम्मेदार ठहराया, सरकार से मुआवजे की मांग की

Get Latest हिन्दी समाचार, Breaking News on India at LatestLY हिन्दी. दिल्ली में भागीरथ पैलेस के व्यापारियों ने थोक बाजार में आग लगने और दमकल की गाड़ियों के मौके पर पहुंचने में देरी के लिए इलाके की तंग गलियों, खराब बुनियादी ढांचे और ज्वलनशील सामग्री को जिम्मेदार ठहराया है।

नयी दिल्ली, 25 नवंबर दिल्ली में भागीरथ पैलेस के व्यापारियों ने थोक बाजार में आग लगने और दमकल की गाड़ियों के मौके पर पहुंचने में देरी के लिए इलाके की तंग गलियों, खराब बुनियादी ढांचे और ज्वलनशील सामग्री को जिम्मेदार ठहराया है।

व्यापारियों ने सरकार से मुआवजे की मांग करते हुए कहा कि आग पर काबू पाने का अभियान ‘‘खराब तरीके से निष्पादित’’ किया गया था जिसके कारण आग कई दुकानों में फैल गई और ‘‘सैकड़ों करोड़’’ रुपये का नुकसान हुआ।

देश में बिजली और इलेक्ट्रॉनिक्स उपकरणों के लिए सबसे बड़े थोक बाजार भागीरथ पैलेस क्षेत्र के महालक्ष्मी बाजार में बृहस्पतिवार रात नौ बजे आग लगी और जल्द ही नजदीक की दुकानों में फैल गयी। इस आग में करीब 100 दुकानें जलकर खाक हो गयीं। पुलिस के मुताबिक घटना में अभी तक किसी के हताहत होने की कोई खबर नहीं है।

व्यापारियों के मुताबिक, उन्हें 400 करोड़ रुपये से अधिक का संचयी नुकसान हुआ है।

बाजार में इलेक्ट्रॉनिक की दुकान व गोदाम रखने वाले संजय कुमार आग के कारण क्षति का जायजा लेने तड़के ही वहां पहुंच गए। उनकी दुकान उस इमारत से करीब 50 मीटर की दूरी पर है जिसमें सबसे पहले आग लगी थी।

संजय कुमार ने कहा, ‘‘ आग मेरे गोदाम तक पहुंच गई है। दमकल विभाग ने अब पानी का छिड़काव किया है। मुझे लगता है कि यह बुझ गयी है। ’’

उन्होंने बाजार में तारों के जाल की ओर इशारा करते हुए कहा, ‘‘यहां की गलियां संकरी हैं और बुनियादी ढांचा अंग्रेजों के जमाने का है। कोई मरम्मत का काम नहीं किया गया है और न ही कोई एहतियात बरती गई है। देखिए तारों का जाल। यह त्रासदी आसन्न थी।’’

उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि कई दुकानों में आग फैलने के लिए अग्निशमन अभियान का खराब निष्पादन जिम्मेदार है। उन्होंने दावा किया, ‘‘आग को पहले बुझाया जा सकता था लेकिन पानी का दबाव कम था।’’

व्यापारियों ने दावा किया कि उनकी दुकानों पर देश और दुनिया भर से ग्राहक खरीदारी करने आते हैं।

व्यापारियों ने आग बुझाने के अभियान में देरी के लिए कॉमन एरिया में अनधिकृत कियोस्क को भी जिम्मेदार ठहराया।

राजेंद्र नामक एक व्यापारी ने कहा,‘‘ अग्निशमन विभाग को पहले कई कियोस्क को ध्वस्त करना पड़ा क्योंकि वाहन संकरी गलियों में प्रवेश करने में सक्षम नहीं थे। गलियां पहले से ही संकरी हैं और अनधिकृत कियोस्क से स्थिति और खराब हो जाती है।‘‘

व्यापारियों ने अधिकारियों पर ढांचागत समस्याओं को हल करने के लिए सुधारात्मक उपाय नहीं करने का भी आरोप लगाया, जिसके कारण क्षेत्र में अक्सर आग लग जाती है।

उन्होंने सरकार से उन्हें हुए नुकसान के मुआवजे की भी मांग की।

एक व्यापारी ने कहा, ‘‘हमने बाजार में सुधारात्मक उपाय करने के लिए कई बार दिल्ली सरकार को लिखा है लेकिन अभी तक कोई कार्रवाई नहीं की गई है। हर पांच से छह महीने में आग लग जाती है। कोई बुनियादी ढांचा सुधार नहीं किया गया है। हर जगह लटकते हुए तारों का जाल है और आग चेतावनी प्रणाली स्थापित नहीं की गयी है। ’’

उन्होंने कहा, ‘‘सरकार को दुकानदारों को हुए नुकसान की भरपाई करनी चाहिए।’’

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