मुंबई, 30 अगस्त अमेरिकी फेडरल रिजर्व के चेयरमैन द्वारा ब्याज दरों को लेकर की गई अनुकूल टिप्पणी के बाद रुपया सोमवार को अमेरिकी डॉलर के मुकाबले 40 पैसे बढ़कर 73.29 के दो महीने के उच्च स्तर पर बंद हुआ।
घरेलू शेयर बाजारों में जोरदार तेजी और विदेशी बाजारों में डॉलर के कमजोर होने से भी रुपये की धारणा को समर्थन मिला।
अंतर बैंक विदेशी मुद्रा विनिमय बाजार में कारोबार की शुरुआत में रुपया 73.46 पर मजबूत खुला। कारोबार के दौरान 73.21 से 73.54 रुपये प्रति डालर के दायरे में घूमने के बाद अंत में पिछले कारोबारी सत्र के बंद भाव की तुलना में 40 पैसे ऊंचा रहकर 73.29 रुपये प्रति डॉलर पर बंद हुआ। मौजूदा बंद स्तर, 14 जून के बाद का उच्चतम बंद स्तर है।
गत सप्ताहांत शुक्रवार को यह 73.69 रुपये प्रति डालर पर बंद हुआ था।
सोमवार को लगातार तीसरे कारेाबारी सत्र में रुपये में तेजी कायम रही। पिछले तीन कारोबारी सत्र के दौरान रुपया 95 पैसे चढ़ चुका है।
इस बीच, छह प्रमुख मुद्राओं के मुकाबले अमेरिकी डॉलर की स्थिति को दर्शाने वाला डॉलर सूचकांक 92.68 पर अपरिवर्तित रहा।
रिलायंस के वरिष्ठ शोध विश्लेषक, श्रीराम अय्यर ने कहा, ‘‘फेडरल रिजर्व के चेयरमैन जेरोम पॉवेल के उदार रुख वाले बयान के बाद इस सोमवार को डॉलर के मुकाबले रुपये में तेजी आई। पॉवेल ने कहा कि बॉन्ड खरीद को कम करने से पहले श्रम बाजार के अधिक आंकड़ों को देखने की आवश्यकता है।’’
पॉवेल ने यह भी कहा कि अमेरिकी फेडरल रिजर्व बैंक ब्याज दर को रिकॉर्ड निचले स्तर से वापस ऊपर लाने की स्थिति से काफी दूर है।
व्यापारियों ने कहा कि जैक्सन होल संगोष्ठी में अमेरिकी फेडरल प्रमुख का भाषण उदार रवैये वाला था और उन्होंने आशा व्यक्त की कि फेडरल रिजर्व कम ब्याज दरों के साथ बाजार का समर्थन करता रहेगा।
वैश्विक मानक ब्रेंट कच्चा तेल वायदा भाव 0.22 प्रतिशत घटकर 72.54 डॉलर प्रति बैरल रह गया।
शेयर बाजार के आंकड़ों के अनुसार, इस बीच, विदेशी संस्थागत निवेशक पूंजी बाजार में शुद्ध बिकवाल रहे और उन्होंने गतसप्ताहांत शुक्रवार को 778.75 करोड़ रुपये के शेयरों की बिकवाली की।
(यह सिंडिकेटेड न्यूज़ फीड से अनएडिटेड और ऑटो-जेनरेटेड स्टोरी है, ऐसी संभावना है कि लेटेस्टली स्टाफ द्वारा इसमें कोई बदलाव या एडिट नहीं किया गया है)