नीतीश कुमार ने मधेपुरा में आरटी-पीसीआर जांच सुविधा शुरू करने का निर्देश दिया
वर्तमान में बिहार में सात संस्थानों में कोविड-19 की जांच सुविधाएं उपलब्ध हैं, जिनमें आरएमआरआई, पीएमसीएच, एनएमसीएच, एम्स पटना और भागलपुर, मुजफ्फरपुर और दरभंगा के मेडिकल कॉलेज शामिल हैं।
पटना, नौ मई बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने शनिवार को अधिकारियों को मधेपुरा के जन नायक कर्पूरी ठाकुर मेडिकल कॉलेज एवं अस्पताल में आरटी-पीसीआर जांच सुविधा शुरू करने का निर्देश दिया, ताकि आस-पास के जिलों में रहने वाले लोगों को कोविड-19 की जांच सुविधा मिल सके।
वर्तमान में बिहार में सात संस्थानों में कोविड-19 की जांच सुविधाएं उपलब्ध हैं, जिनमें आरएमआरआई, पीएमसीएच, एनएमसीएच, एम्स पटना और भागलपुर, मुजफ्फरपुर और दरभंगा के मेडिकल कॉलेज शामिल हैं।
एक आधिकारिक विज्ञप्ति में कुमार ने अधिकारियों से सभी जिलों में पृथक-वास केंद्रों में बिस्तरों की संख्या बढ़ाने के लिए कहा है।
कुमार ने कहा कि डॉक्टरों, नर्सों और अन्य पैरा मेडिकल कर्मियों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए व्यक्तिगत सुरक्षा उपकरण किट, मास्क आदि पर्याप्त संख्या में उपलब्ध कराए गए हैं, जो लोगों को कोरोना वायरस से बचाने के लिए दिन-रात काम कर रहे हैं।
कुमार और उप मुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी ने राज्य में कोविड-19 के प्रसार को रोकने के लिए किए जा रहे उपायों का जायजा लेने के लिए मुख्य सचिव दीपक कुमार और वरिष्ठ अधिकारियों के साथ समीक्षा बैठक की।
मुख्यमंत्री ने लोगों से पैदल चलकर राज्य में नहीं लौटने अपील की और उन्हें अपने नजदीकी प्रखंड कार्यालय या पुलिस थाने को सूचित करने को कहा ताकि उन्हें उनके गंतव्य तक भेजा जा सके।
उन्होंने संबंधित अधिकारियों को निर्देश दिया कि बाहर से आने वाले लोगों को उनके गंतव्य तक जाने के लिए उचित व्यवस्था करें।
स्वास्थ्य विभाग के प्रधान सचिव, संजय कुमार ने बैठक में बताया कि कोविड-19 के कुल 589 रोगियों में से 318 ठीक हो चुके हैं जबकि पांच की मौत हो गई है। मृतक पहले से ही गंभीर बीमारी से पीड़ित थे।
589 संक्रमितों में से 96 वे लोग हैं, जो राज्य में बाहर से आये थे।
आपदा प्रबंधन विभाग के प्रधान सचिव प्रत्यय अमृत ने कहा कि राज्यभर में 72,000 लोग विभिन्न पृथक-वास केंद्रों में रह रहे हैं, जहां सारी आवश्यक व्यवस्थाएं की गई हैं।
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