लॉकडाउन: रियल्टी कंपनियों ने सीमित श्रमिकों के साथ निर्माण गतिविधियों की अनुमति देने का स्वागत किया
रियल एस्टेट उद्योग के संगठन नारेडको के अध्यक्ष निरंजन हीरानंदानी ने कहा, ‘‘सरकार ने अटकी पड़े निर्माण कार्यों को धीरे धीरे फिर से शुरू करने की अनुमति दी है। कुछ शर्तों के साथ 20 अप्रैल 2020 से इन गतिविधियों को आंशिक रूप से शुरू किया जा सकेगा। रियल एस्टेट उद्योग ने इसका प्रवासी मजदूरों के संकट को संभालने में पड़ने वाले सकारात्मक प्रभाव को स्वीकार किया है।’’
नयी दिल्ली, 15 अप्रैल रियल एस्टेट उद्योग ने सीमित उपलब्ध श्रमिकों के साथ निर्माण गतिविधियों को जारी रखने की अनुमति दिये जाने के सरकार के फैसले का बुधवार को स्वागत किया है। उद्योग ने कहा है कि इससे प्रवासी दिहाड़ी मजदूरों की समस्या का काफी हद तक समाधान हो जायेगा। हालांकि कच्चे माल की उपलब्धता की कुछ समस्या सामने आ सकती है।
रियल एस्टेट उद्योग के संगठन नारेडको के अध्यक्ष निरंजन हीरानंदानी ने कहा, ‘‘सरकार ने अटकी पड़े निर्माण कार्यों को धीरे धीरे फिर से शुरू करने की अनुमति दी है। कुछ शर्तों के साथ 20 अप्रैल 2020 से इन गतिविधियों को आंशिक रूप से शुरू किया जा सकेगा। रियल एस्टेट उद्योग ने इसका प्रवासी मजदूरों के संकट को संभालने में पड़ने वाले सकारात्मक प्रभाव को स्वीकार किया है।’’
हीरानंदानी ने कहा कि सरकार की तरफ से यह राहत काफी उपयुक्त समय पर आई है। क्योंकि निर्माण कार्यों में लग मजदूरों को अब वहां ज्यादा समय तक रखना मुश्किल होता जा रहा था।
एक अन्य संगठन क्रेडाई के चेयरमैन जाक्शे शाह ने कहा कि गृह मंत्रालय द्वारा जारी दिशानिर्देशों से देश की आर्थिक वृद्धि का पहिया आगे बढ़ेगा। हालांकि, यह पहिया धीरे धीरे ही सही लेकिन बेहतर ढंग से आगे बढ़ेगा। हालांकि, उन्होंने कहा, ‘‘इस संबंध में हमें राज्य सरकारों से निर्देश की प्रतीक्षा है।’’
शाह ने कहा कि कृषि क्षेत्र के बाद रियल एस्टेट क्षेत्र देश में रोजगार उपलब्ध कराने वाला दूसरा बड़ा क्षेत्र है। निर्माण गतिविधियों के रुके रहने का देश के रियल एस्टेट क्षेत्र पर दीर्घकालिक प्रभाव पड़ सकता है।
उन्होंने कहा कि जिन निर्माण स्थलों पर मजदूर रह रहे हैं और उनका भरण पोषण का काम पहले से ही चल रहा है, उनमें धीरे धीरे निर्माण कार्यो को आगे बढ़ाना सभी के लिये फायदेमंद होगा। हालांकि, जरूरी कच्चे माल और आपूर्ति श्रंखला पर भी ध्यान देना होगा।
क्रेडाई- एनसीआर के अध्यक्ष पंकज बजाज ने कहा, ‘‘हमें फिलहाल पूरे मामले में स्थिति स्पष्ट होने की प्रतीक्षा है। ऐसा अनुमान है कि नोएडा में निर्माण कार्य हॉटस्पाट इलाकों से बाहर के इलाकों में करने की अनुमति होगी लेकिन व्यवहारिक रूप से यह असंभव लगता है। मजदूरों को भी परिसर के भीतर रखना होगा जबकि ज्यादातर परियोजनायें तैयारी के आखिरी चरण में हैं, ऐसे में मजदूरों को परिसर से बाहर ही रखना होगा। इसके अलावा जरूरी सामान की आपूर्ति की भी समस्या है, इन सामानों के उत्पादन पर व्यापक रूप से अभी भी प्रतिबंध लागू है।’’
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