देश की खबरें | दूसरी पारी में जब सब थके होते है मैं अपने खेल के स्तर को ऊपर उठाता हूं: शमी
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नयी दिल्ली, 19 जून मोहम्मद शमी की काबिलियत है कि जब टेस्ट की दूसरे पारी में अन्य खिलाड़ी थक जाते हैं तब वह अपने प्रदर्शन के स्तर को ऊपर उठाते हैं और इस भारतीय तेज गेंदबाज ने भी माना कि वह दूसरी पारी में ज्यादा दमदार रहते हैं।
शमी का रिकॉर्ड भी इस बात की गवाही देता है कि वह दूसरी पारी में ज्यादा दमदार रहते है। उन्होंने पहली पारी में 32.50 की औसत से 92 विकेट लिये है जबकि दूसरी पारी में महज 21.98 की औसत से 88 विकेट चटकाये हैं।
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शमी ने भारतीय विकेटकीपर दीपदास गुप्ता से ईएसपीएनक्रिकइंफो के कार्यक्रम क्रिकेटबाजी से कहा, ‘‘ मैं दूसरी पारी में खेल का इस्तेमाल बहुत होशियारी से करता हूं। जैसे हाल ही में हम विशाखापट्टनम (दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ) में खेले थे, जहां मुझे पांच विकेट मिले, पिच काफी बेजान थी और जरूरी उछाल भी नहीं मिल रहा था।’’
दक्षिण अफ्रीका के 2017-18 दौरे पर शमी ने अपने 15 में से 12 विकेट दूसरी पारी में लिये थे।
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उन्होंने कहा, ‘‘आपको परिस्थितियों का चालाकी से उपयोग करने की जरूरत होती है। मैं आमतौर पर दूसरी पारी में ज्यादा जोश मे होता हूं जब दूसरे खिलाड़ी थक जाते हैं।’’
उन्होंने कहा, ‘‘ आम तौर पर दूसरी पारी के समय तक हर कोई मैदान पर तीन दिन बिता चुका होता है। मैं डीजल इंजन की तरह हूं जो पेट्रोल इंजन की तुलना में पिक अप लेने में थोडा समय लेता है। मैं हर किसी के थकने का इंतजार करता हूं। टेस्ट में आपके पास पांच दिनों का समय होता है, जब सब थक जाते है तब मैं अपना स्तर ऊंचा करता हूं।’’
शमी ने कहा कि मौजूदा समय में भारतीय तेज गेंदबाजी इकाई में काफी गहराई है और यह मौजूदा समय में दुनिया की सबसे अच्छी गेंदबाजी इकाई है।
शमी के अलावा भारतीय टेस्ट टीम में इशांत शर्मा, जसप्रीत बुमराह, उमेश यादव और भुवनेश्वर कुमार जैसे तेज गेंदबाज है।
उन्होंने कहा, ‘‘आप और दुनिया के बाकी सभी लोग इस बात से सहमत होंगे कि किसी भी टीम के पास पैकेज के रूप में कभी भी पांच तेज गेंदबाज नहीं हैं। सिर्फ अब ही नहीं, क्रिकेट के इतिहास में यह दुनिया की सबसे अच्छी तेज गेंदबाजी इकाई हो सकती है।’’
शमी ने यह भी खुलासा किया कि नयी गेंद से गेंदबाजी के मामले में कप्तान विराट कोहली यह फैसला तेज गेंदबाजों पर छोड़ देते है।
उन्होंने कहा, ‘‘ हम कोहली से इस बारे में पूछते है लेकिन आम तौर पर वह कहते है कि इसका फैसला हम गेंदबाज ही करें।’’
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