Team India: वर्ल्ड कप में टीम इंडिया के लिए तेज गेंदबाजों की फॉर्म, भूमिका की स्पष्टता, रोहित शर्मा की बल्लेबाजी अहम रही
वहीं खिलाड़ियों की भूमिका में काफी स्पष्टता आ गयी है जो टीम के प्रदर्शन से साफ दिख रहा है. इसके अलावा भारतीय टीम खराब परिस्थतियों से उबरकर वापसी कर रही है जो उसके लिए फायदेमंद रहा है. सेमीफाइनल में भारत इसी तरह दबाव भरे हालात में भी वापसी करने का तरीका ढूंढना जारी रखेगा.
नयी दिल्ली: भारतीय टीम विश्व कप के सेमीफाइनल में पहुंचने वाली पहली टीम बनी जिसमें कप्तान रोहित शर्मा के अलावा अन्य बल्लेबाजों का शानदार प्रदर्शन, तेज गेंदबाजों की कहर बरपाती गेंद और स्पिनरों का रन रोकना भले ही अहम रहा हो लेकिन मैदान पर आक्रामक प्रदर्शन के लिए इनके अलावा कुछ और भी है.
महान क्रिकेटर वसीम अकरम का मानना है कि भारत का अभियान रोकने के लिए असाधारण प्रयास करना होगा लेकिन हर कदम पर आईसीसी (अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट परिषद) खिताब का सूखा रोहित और अन्य साथी खिलाड़ियों को प्रेरित करने का काम करता रहा है जो जानते हैं कि इसके लिए काम अभी आधा ही हुआ है. IPL 2024 Auction: भारत में नहीं बल्कि इस देश में होगा आईपीएल 2024 का ऑक्शन, सामने आई तारीख; यहां जानें पूरी खबर
गुरूवार को श्रीलंका को 302 रन से हराकर भारत ने सेमीफाइनल में स्थान पक्का किया जो उसकी लगातार सातवीं जीत भी थी. भारतीय टीम स्वप्निल लय के बीच में हैं और रोहित के खिलाड़ियों को उनके नॉकआउट चरण में प्रदर्शन के आधार पर आंका जायेगा जो पिछले एक दशक में उनके लिए कमजोर कड़ी रही है.
कप्तान रोहित ने शीर्ष क्रम के रवैये में सुधार किया है क्योंकि पहले पावरप्ले में टीम के रूढ़िवादी रवैये की आलोचना की जाती थी. पर रोहित पहले 10 ओवरों में टीम के आक्रामक खेल के लिये जिम्मेदार हैं. रोहित ने 119.64 के स्ट्राइक रेट से बल्लेबाजी की है, जो टूर्नामेंट में सबसे ज्यादा रन बनाने वाले बल्लेबाजों में सबसे ज्यादा है. वह 57.42 की औसत से 402 रन बनाकर उस सूची में शीर्ष पांच में शामिल हैं.
उनके इस तरह के जोखिम भरे रवैये से शुभमन गिल (97 स्ट्राइक रेट) और विराट कोहली (89.47) जैसे खिलाड़ियों को अपनी लय से पारी बढ़ाने में मदद की. रोहित आने वाले मैचों में भी ऐसा ही जोखिम लेना जारी रखेंगे. भारत को पूरे मैच के दौरान और विशेषकर बीच के ओवरों में विकेट लेने में सुधार करने की जरूरत है.
जसप्रीत बुमराह की वापसी और कुलदीप यादव के गेंदबाजी में सुधार से भारत को यह अंतर खत्म करने में मदद मिली. भारत के लिये इस टूर्नामेंट में सर्वाधिक 15 विकेट झटकने वाले बुमराह ने मैच के सभी चरण में और सभी परिस्थितियों में विकेट दिलाये. कुलदीप यादव अपनी बायीं हाथ की कलाई की स्पिन से प्रभावी रहे और अभी तक 10 विकेट झटक चुके हैं.
रविंद्र जडेजा ने रनों की गति रोककर सफलता भी हासिल कीं. बुमराह की घातक गेंदबाजी के अलावा मोहम्मद शमी बेहतरीन सीम गेंदबाजी से बल्लेबाजों को गलतियां करने पर मजबूर कर रहे हैं और मोहम्मद सिराज भी जब लय में होते हैं तो कमाल कर देते हैं जिससे भारत का तेज गेंदबाजी आक्रमण दूसरी टीमों के लिये जलन का कारण बनता जा रहा है.
वहीं खिलाड़ियों की भूमिका में काफी स्पष्टता आ गयी है जो टीम के प्रदर्शन से साफ दिख रहा है. इसके अलावा भारतीय टीम खराब परिस्थतियों से उबरकर वापसी कर रही है जो उसके लिए फायदेमंद रहा है. सेमीफाइनल में भारत इसी तरह दबाव भरे हालात में भी वापसी करने का तरीका ढूंढना जारी रखेगा.
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