देश की खबरें | कांग्रेस सांसद श्रीकंदन ने पीएफआई से संबंध के आरोपों के बीच ‘एमईसी 7’ कार्यक्रम का समर्थन किया
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पलक्कड़ (केरल), 15 दिसंबर कांग्रेस सांसद वी के श्रीकंदन ने रविवार को ‘एमईसी 7 दैनिक शारीरिक अभ्यास’ कार्यक्रम का समर्थन किया।
राजनीतिक जगत के कुछ हलकों में ऐसी अटकलें हैं कि उत्तरी केरल के कुछ हिस्सों में आयोजित किए जाने वाले ‘मल्टी एक्सरसाइज कॉम्बनेशन 7’ (एमई 7) कार्यक्रम का प्रतिबंधित इस्लामी संगठन ‘पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया’ (पीएफआई) और जमात ए इस्लामी जैसे संगठनों से संबंध हो सकता है।
श्रीकंदन ने कहा, ‘‘मेरा मानना है कि एमईसी 7 का पूरे देश में विस्तार किया जाना चाहिए।’’ कांग्रेस नेता ने कहा कि हालांकि कुछ हलकों से आलोचना हो रही है, लेकिन इस स्वास्थ्य क्लब का विस्तार किया जाना चाहिए।
उन्होंने कहा उनके विचार में स्वास्थ्य संबंधी कार्यक्रम वर्ग, धर्म या समुदाय की बाधाओं से परे है।
कांग्रेस नेता ने कहा, ‘‘मैंने व्यक्तिगत रूप से इसका अनुभव किया है, और यह सभी के लिए समावेशी एवं फायदेमंद है।’’
खुले स्थान पर आयोजित किए जाने वाले कार्यक्रम की पैरवी करने वालों का दावा है कि उन्होंने इस अभ्यास में योग सहित विभिन्न प्रकार के व्यायामों को शामिल किया है।
इस बीच, मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी (माकपा) ने एमईसी 7 के खिलाफ अपना रुख नरम कर लिया है, जबकि भाजपा इसकी आलोचना करने वालों में शामिल हो गई है।
पूर्व में कार्यक्रम की कड़ी आलोचना करने वाले माकपा के कोझिकोड जिला सचिव पी मोहनन ने रविवार को कहा कि पार्टी इसके खिलाफ नहीं है।
मोहनन ने पत्रकारों से बातचीत में कहा कि उनकी आलोचना एसडीपीआई, जमात-ए-इस्लामी और संघ परिवार जैसी सांप्रदायिक ताकतों द्वारा सांप्रदायिक विचारधाराओं का प्रचार करने के लिए ऐसी सार्वजनिक पहलों में घुसपैठ किए जाने की आशंका पर केंद्रित थी।
केरल में इस मुद्दे पर तब राजनीतिक विवाद छिड़ गया था, जब आपस में कट्टर प्रतिद्वंद्वी माकपा और भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) कार्यक्रम की आलोचना करते हुए एक ही मंच पर आ गए। कुछ मुस्लिम संगठन भी एमईसी 7 के खिलाफ आवाज उठा रहे हैं।
विवाद की शुरुआत तब हुई, जब माकपा के कोझिकोड जिला सचिव मोहनन ने पिछले महीने आरोप लगाया था कि प्रतिबंधित पीएफआई के कार्यकर्ताओं के समर्थन से जमात-ए-इस्लामी द्वारा कई क्षेत्रों में शारीरिक व्यायाम सत्र आयोजित किए जा रहे हैं। उन्होंने इसकी विस्तृत जांच की मांग की थी।
वाम दल और कुछ सुन्नी मुस्लिम संगठनों द्वारा कार्यक्रम की आलोचना किए जाने के साथ ही भाजपा भी इस विवाद में शामिल हो गई और आरोप लगाया कि कार्यक्रम ‘‘रहस्यमय’’ है।
भाजपा नेता और पूर्व केंद्रीय मंत्री वी मुरलीधरन ने आरोप लगाया कि यह मानने के पर्याप्त कारण हैं कि कार्यक्रम के पीछे पीएफआई, जमात-ए-इस्लामी और नेशनल डेवलपमेंट फ्रंट (एनडीएफ) हैं और इसलिए राज्य सरकार को सतर्क रहना चाहिए।
एमईसी 7 के आयोजन से जुड़े लोगों ने इस पहल के खिलाफ किसी भी आरोप को खारिज किया और कहा कि इसके सदस्य विभिन्न धार्मिक और राजनीतिक पृष्ठभूमि से हैं।
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