देश की खबरें | मलयालम फिल्म जगत ने एम. टी. वासुदेवन नायर को भावभीनी श्रद्धांजलि दी
Get Latest हिन्दी समाचार, Breaking News on India at LatestLY हिन्दी. प्रख्यात लेखक एम. टी. वासुदेवन नायर को ममूटी, मोहन लाल और मंजू वारियर सहित मलयालम फिल्म उद्योग की प्रमुख हस्तियों ने श्रद्धांजलि अर्पित की।
कोझिकोड (केरल), 26 दिसंबर प्रख्यात लेखक एम. टी. वासुदेवन नायर को ममूटी, मोहन लाल और मंजू वारियर सहित मलयालम फिल्म उद्योग की प्रमुख हस्तियों ने श्रद्धांजलि अर्पित की।
एमटी वासुदेवन नायर का बुधवार को निधन हो गया। वह 91 वर्ष के थे। बीमारी के कारण उनका एक महीने से अधिक समय से इलाज किया जा रहा था। उन्हें 16 दिसंबर को सांस संबंधी जटिलताओं के बाद अस्पताल में भर्ती कराया गया था। उन्होंने बुधवार रात 10 बजे यहां के एक निजी अस्पताल में अंतिम श्वांस ली।
पटकथा लेखक, निर्देशक और निर्माता के रूप में अपने योगदान के लिए प्रसिद्ध वासुदेवन नायर को एम.टी के नाम से जाना जाता था और वह भारतीय साहित्य तथा सिनेमा की जानी-मानी हस्ती थे।
एम.टी. के अंतिम दर्शन के लिए प्रमुख अभिनेता मोहनलाल उनके आवास ‘सितारा’ पहुंचे जहां आम लोगों को भी उन्हें अंतिम विदाई देने की अनुमति दी गई थी।
ज्ञानपीठ पुरस्कार से सम्मानित वासुदेवन के साथ अपने लंबे जुड़ाव की याद करते हुए मोहनलाल ने कहा, ‘‘एमटी ने मुझे मेरे फिल्मी करियर में कुछ सबसे यादगार किरदार दिए। वह मेरे संस्कृत नाटकों को देखने के लिए मुंबई भी आए और जब भी मैं कोझिकोड जाता था, तो हम मिलते थे।’’
ममूटी ने फेसबुक पर एक पोस्ट में लिखा ‘‘एमटी के दिल में जगह बनाना मेरे करियर में उनका सबसे बड़ा आशीर्वाद था। मैंने ऐसे कई किरदार निभाए जिनमें उनकी आत्मा बसी थी... कितनों की याद करूं। एक पूरा युग ही चला गया और हर ओर शून्य नजर आ रहा है।’’
एम.टी के साथ ‘कन्याकुमारी’ और ‘मनोरथंगल’ जैसी फिल्मों में काम करने वाले वरिष्ठ अभिनेता और फिल्म निर्माता कमल हासन ने भी अपने प्रिय मित्र के अवसान पर शोक व्यक्त किया।
उन्होंने सोशल मीडिया मंच ‘एक्स’ पर लिखा, ‘‘फिल्म ‘कन्याकुमारी’ के निर्माता के रूप में उनके साथ मेरी दोस्ती 50 साल पुरानी है।’’
एम. टी के साथ मिलकर कई प्रशंसित फिल्मों में काम करने वाले निर्देशक हरिहरन भी उन्हें श्रद्धांजलि देते हुए भावुक हो गए।
अभिनेत्री मंजू वारियर ने एम.टी की तुलना आधुनिक मलयालम लेखकों के बीच एक आदर्श के समान की। उन्होंने लखा ‘‘मलयालम सिनेमा और साहित्य को कालजयी रचनाएं देने के लिए बहुत बहुत आभार।’’
नायर ने सात दशक के करियर में नौ उपन्यास, 19 लघु कथा संग्रह, 54 पटकथाएं लिखीं। उन्होंने छह फिल्मों का निर्देशन भी किया।
(यह सिंडिकेटेड न्यूज़ फीड से अनएडिटेड और ऑटो-जेनरेटेड स्टोरी है, ऐसी संभावना है कि लेटेस्टली स्टाफ द्वारा इसमें कोई बदलाव या एडिट नहीं किया गया है)