देश की खबरें | उच्च न्यायालय ने वकीलों की मदद के लिए कल्याण कोष में आवंटन बढ़ाने पर विचार करने का निर्देश दिया

Get Latest हिन्दी समाचार, Breaking News on India at LatestLY हिन्दी. जम्मू-कश्मीर उच्च न्यायालय ने प्रशासन को निर्देश दिया है कि वह अपने कल्याण कोष में कुछ अतिरिक्त बजटीय आवंटन पर विचार करे ताकि किसी भी वकील को चिकित्सा व्यय पर सहायता के लिए या कोरोना वायरस महामारी के कारण उनकी मृत्यु के बाद उनके परिवार को वित्तीय सहायता दी जा सके।

जम्मू, छह मई जम्मू-कश्मीर उच्च न्यायालय ने प्रशासन को निर्देश दिया है कि वह अपने कल्याण कोष में कुछ अतिरिक्त बजटीय आवंटन पर विचार करे ताकि किसी भी वकील को चिकित्सा व्यय पर सहायता के लिए या कोरोना वायरस महामारी के कारण उनकी मृत्यु के बाद उनके परिवार को वित्तीय सहायता दी जा सके।

महामारी को लेकर स्वत: संज्ञान लेकर दायर की गई एक याचिका पर बुधवार को वर्चुअल सुनवाई के दौरान मुख्य न्यायाधीश पंकज मिथल और न्यायमूर्ति संजय धर की खंडपीठ ने यह निर्देश दिया।

अदालत द्वारा पिछले साल न्याय मित्र रूप में नियुक्त की गई वकील मोनिका कोहली को सुनने के बाद अदालत ने कहा, "यदि किसी वकील के परिवार को चिकित्सा खर्च या उनकी मृत्यु के कारण वित्तीय सहायता की आवश्यकता होती है, तो परिवार के सदस्य एक आवेदन के साथ बार एसोसिएशन से संपर्क कर सकते हैं।”

पीठ ने छह-पृष्ठ के एक आदेश में कहा, "याचिका पर अदालत तेजी से विचार करेगी और कल्याण कोष से अधिकतम वित्तीय सहायता प्रदान करने का प्रयास करेगी। साथ ही, सरकार को कुछ अतिरिक्त बजटीय आवंटन करने पर विचार करने के लिए भी निर्देश दिया गया है, क्योंकि उपलब्ध धनराशि आवश्यकता को पूरा करने के लिए पर्याप्त नहीं हो सकती है।”

कोहली ने हाल ही में कोरोना वायरस के कारण जान गंवाने वाले वकीलों के परिवारों का मुद्दा उठाया और उनके लिए कुछ वित्तीय सहायता मांगी।

उन्होंने कोरोना वायरस से संक्रमित हुए उच्च न्यायालय के वकीलों को लेकर चिंता व्यक्त की।

अदालत ने कहा, "18-45 आयु वर्ग के बीच के वकीलों के टीकाकरण के संबंध में, उन्हें सलाह दी जाती है कि वे निर्धारित प्रक्रिया के अनुसार ऑनलाइन टीकाकरण के लिए अपना पंजीकरण कराएं।"

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