देश की खबरें | एमवीए के शासनकाल में फडणवीस, शिंदे के खिलाफ साजिश रची गई : भाजपा नेता दारेकर

Get Latest हिन्दी समाचार, Breaking News on India at LatestLY हिन्दी. महाराष्ट्र विधान परिषद में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के सदस्य प्रवीण दारेकर ने मंगलवार को सदन में आरोप लगाया कि महा विकास आघाडी (एमवीए) के शासनकाल में मौजूदा मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस और तत्कालीन मंत्री एकनाथ शिंदे को झूठे मामले में फंसाने की साजिश रची गई थी।

नागपुर, 17 दिसंबर महाराष्ट्र विधान परिषद में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के सदस्य प्रवीण दारेकर ने मंगलवार को सदन में आरोप लगाया कि महा विकास आघाडी (एमवीए) के शासनकाल में मौजूदा मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस और तत्कालीन मंत्री एकनाथ शिंदे को झूठे मामले में फंसाने की साजिश रची गई थी।

उस समय भाजपा विधायक फडणवीस विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष थे, जबकि शिंदे के पास उद्धव ठाकरे मंत्रिमंडल में शहरी विकास मंत्रालय का प्रभार था। एमवीए सरकार के पतन के बाद शिंदे ने जून 2022 में मुख्यमंत्री पद संभाला और फडणवीस उप मुख्यमंत्री बने।

दारेकर ने महाराष्ट्र विधानमंडल के ऊपरी सदन में यह आरोप लगाया और कथित साजिश की विशेष जांच दल (एसआईटी) से जांच कराने की मांग की। इस समय महाराष्ट्र विधानमंडल का शीतकालीन सत्र राज्य की दूसरी राजधानी नागपुर में चल रहा है।

महायुति सरकार की ओर से कैबिनेट मंत्री शंभूराज देसाई ने कहा कि दारेकर द्वारा उठाया गया मुद्दा गंभीर है। उन्होंने सदन को सूचित किया कि मामले की जांच के लिए भारतीय पुलिस सेवा (आईपीएस) के एक वरिष्ठ अधिकारी की अध्यक्षता में एसआईटी का गठन किया जाएगा।

दारेकर ने कहा कि सोमवार को टीवी चैनलों पर कथित साजिश से जुड़े ऑडियो क्लिप प्रसारित किए गए। सत्तारूढ़ पार्टी के विधान परिषद सदस्य ने दावा किया कि उनके पास एक पेनड्राइव है, जिसमें महाराष्ट्र के पूर्व पुलिस महानिदेशक संजय पांडे और तत्कालीन एसीपी लक्ष्मीकांत पाटिल के बीच कथित बातचीत का ऑडियो क्लिप है।

दारेकर ने दावा किया कि ऑडियो क्लिप में पांडे को ठाणे शहर में पदस्थ पाटिल से कथित तौर पर मामला दर्ज करने और फडणवीस तथा महायुति सरकार में उपमुख्यमंत्री शिंदे को गिरफ्तार करने के लिए कहते हुए सुना जा सकता है।

देसाई ने एमवीए सरकार के कार्यकाल (नवंबर 2019 से जून 2022) का जिक्र करते हुए कहा कि यह पता लगाना महत्वपूर्ण है कि उस समय कथित साजिश और सत्ता के दुरुपयोग के पीछे कौन था।

भाजपा विधायक ने पाटिल को तत्काल निलंबित करने की भी मांग की।

कैबिनेट मंत्री देसाई ने कहा कि वह इस मामले पर फडणवीस से बात करेंगे।

तत्कालीन एमवीए सरकार में कांग्रेस, उद्धव ठाकरे नीत शिवसेना (उबाठा) और राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (शरदचंद्र पवार) शामिल थी। वहीं, भाजपा, एकनाथ शिंदे नीत शिवसेना और अजित पवार नीत राकांपा सत्तारूढ़ महायुति का हिस्सा हैं।

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