नयी दिल्ली, 14 जून अरबपति कारोबारी गौतम अडाणी के समूह ने सोमवार को कहा कि उसके पास इस बात की लिखित जानकारी है कि उसके शीर्ष शेयरधारकों में शामिल तीन विदेशी फंडों के खाते जब्त नहीं किए गए हैं और इस तरह की खबर ‘‘स्पष्ट रूप से गलत और भ्रामक’’ हैं।
अडाणी समूह की कंपनियों में हिस्सेदारी रखने वाले कुछ एफपीआई खातों को राष्ट्रीय प्रतिभूति डिपॉजिटरी लिमिटेड (एनएसडीएल) द्वारा कथित रूप से जब्त करने की खबर के बाद इन कंपनियों के शेयरों में सोमवार को गिरावट देखी गई।
समूह की प्रमुख कंपनी अडाणी एंटरप्राइजेज के साथ ही अडाणी पोर्ट्स एंड स्पेशल इकोनॉमिक जोन, अडाणी ग्रीन एनर्जी, अडाणी टोटल गैस, अडाणी ट्रांसमिशन और अडाणी पावर ने शेयर बाजार को बताया कि समूह की कंपनियों में हिस्सेदारी रखने वाले निवेश कोषों अल्बुला इंवेस्टमेंट फंड, क्रेस्टा फंड और एपीएमएस इन्वेस्टमेंट फंड, के खातों को एनएसडीएल द्वारा जब्त करने की खबर ‘‘स्पष्ट रूप से भ्रामक है और जानबूझकर निवेशक समुदाय को गुमराह करने के लिए फैलाई गई है।’’
इन कंपनियों ने कहा, ‘‘इससे बड़े पैमाने पर निवेशकों को आर्थिक क्षति और समूह की प्रतिष्ठा को अपूरणीय नुकसान हो रहा है।’’
उन्होंने कहा कि मुद्दे की गंभीरता और अल्पांश निवेशकों पर इसके प्रतिकूल असर को देखते हुए ‘‘हमने उपरोक्त फंडों के डीमैट खाते (खातों) की स्थिति के संबंध में पंजीयक और स्थानांतरण एजेंट से अनुरोध किया था और 14 जून 2021 की दिनांक वाले ई-मेल के जरिए इस बात की लिखित पुष्टि की गई है कि उपरोक्त फंड जिन डीमैट खातों में कंपनी के शेयरों को रखते हैं उन डी मैट खातों को जब्त नहीं किया गया है।’’
इससे पहले खबर आई थी कि एनएसडीएल की वेबसाइट पर कथित रूप से बिना कोई कारण बताए अल्बुला इन्वेस्टमेंट फंड, क्रेस्टा फंड और एपीएमएस इंवेस्टमेंट फंड के खातों को जब्त कर दिया गया है।
तीनों फंड समूह के शीर्ष 12 निवेशकों में शामिल हैं और वार्षिक निवेशक प्रस्तुतियों के मुताबिक 31 मार्च 2020 की स्थिति के मुताबिक अडाणी समूह की पांच कंपनियों में इन कोषों की लगभग 2.1 प्रतिशत से 8.91 प्रतिशत तक हिस्सेदारी थी।
अडाणी समूह की पांच कंपनियों में उनकी हिस्सेदारी का मूल्य सोमवार को शेयरों में गिरावट से पहले तक 7.78 अरब अमरीकी डॉलर पर था।
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