देश की खबरें | न्यायाधिकरण ने दिया दुर्घटना में घायल महिला को 7.4 लाख रुपये का मुआवजा देने का आदेश

ठाणे, 11 अप्रैल महाराष्ट्र के ठाणे जिले में मोटर दुर्घटना दावा न्यायाधिकरण (एमएसीटी) ने 2019 में पुणे-मुंबई एक्सप्रेसवे पर एक दुर्घटना में घायल हुई एक महिला को 7.4 लाख रुपये का मुआवजा देने का आदेश दिया है।

एमएसीटी के सदस्य एस एन शाह की ओर से तीन अप्रैल को पारित आदेश की प्रति शुक्रवार को उपलब्ध हो सकी।

एमएसीटी में अपनी दावा याचिका में सुषमा अशोक बागल ने कहा कि दुर्घटना 31 अक्टूबर 2019 को एक्सप्रेसवे पर हुई थी और उस वक्त वह अपने परिवार के साथ कार से पुणे से ठाणे जा रही थीं।

याचिका में कहा गया है कि महाराष्ट्र राज्य सड़क परिवहन निगम (एमएसआरटीसी) द्वारा संचालित शिवनेरी बस ने कार को टक्कर मार दी, जिससे तीन कार आपस में टकरा गईं और बागल घायल हो गईं। उस समय उनकी उम्र 42 वर्ष थी और उनकी अनुमानित आय 8,000 रुपये प्रति माह थी।

न्यायाधिकरण ने बस चालक को तेज गति और लापरवाही से वाहन चलाने का जिम्मेदार ठहराया। उसने एमएसआरटीसी की इस दलील को खारिज कर दिया कि दुर्घटना कई चालकों की लापरवाही के कारण हुई थी, जिसमें बागल की कार चलाने वाला और कथित तौर पर यू-टर्न लेने वाला एक अज्ञात वाहन भी शामिल है।

न्यायाधिकरण ने बागल को 7.4 लाख रुपये का मुआवजा देने का आदेश दिया। उसने एमएसआरटीसी को याचिका दायर करने की तारीख (अक्टूबर 2020) से आठ प्रतिशत प्रति वर्ष की दर से राशि का भुगतान करने का आदेश दिया।

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