देश की खबरें | मुंडका अग्निकांड: परिवार के सदस्यों को पीड़ितों की पहचान का इंतजार
Get Latest हिन्दी समाचार, Breaking News on India at LatestLY हिन्दी. राजधानी दिल्ली में शनिवार को एक अस्पताल के बाहर खड़े लुधियाना निवासी अमन कुमार अपनी मंगेतर के बारे में बात करते हुए रो पड़े, जो दिल्ली के मुंडका में भीषण अग्निकांड में जान गंवाने वालों में से एक थी।
नयी दिल्ली, 14 मई राजधानी दिल्ली में शनिवार को एक अस्पताल के बाहर खड़े लुधियाना निवासी अमन कुमार अपनी मंगेतर के बारे में बात करते हुए रो पड़े, जो दिल्ली के मुंडका में भीषण अग्निकांड में जान गंवाने वालों में से एक थी।
शोक संतप्त परिजन मंगोलपुरी के संजय गांधी मेमोरियल अस्पताल में एकत्रित हो गए क्योंकि उनमें से कई अपने परिजनों के जले हुए शवों की पहचान का इंतजार कर रहे थे। पुलिस ने पहले कहा था कि आग चार मंजिला व्यावसायिक इमारत की पहली मंजिल से शुरू हुई थी। इस इमारत में एक सीसीटीवी कैमरा और राउटर निर्माण एवं असेंबलिंग कंपनी का कार्यालय स्थित था। उन्होंने बताया कि आग बुझाने के लिए 30 से अधिक दमकल गाड़ियों को सेवा में लगाया गया।
यह पूछे जाने पर कि क्या उनके परिवार का कोई सदस्य अस्पताल में भर्ती है, तो तीस वर्षीय कुमार ने कहा, ‘‘मैं इस साल नवंबर में उससे विवाह करने वाला था।’’ कुमार जब बोल रहे थे तो उनके गले से आवाज मुश्किल से निकल रही थी और आंखों में आंसू थे। कुमार के रिश्तेदार जतिन ने कहा कि हादसे में कुमार की मंगेतर दृष्टि की मौत हो गई, लेकिन उसके शव की अभी पहचान नहीं हो पायी है।
उन्होंने कहा, ‘‘वह मुंडका में इमारत में काम करती थी। हमें कल शाम करीब साढ़े पांच बजे घटना के बारे में पता चला और लुधियाना से दिल्ली पहुंचे। वह नहीं बच पायी।’’ जतिन ने कहा कि पूरा परिवार सदमे की स्थिति में है।
मदनपुर गांव की रहने वाली सत्रह वर्षीय कविता अपनी बहन की तलाश कर रही थी जो तब इमारत के अंदर थी जब उसमें आग लग गई। उन्होंने कहा, ‘‘मेरी बहन काम पर थी जब हमें शाम करीब साढ़े चार बजे आग लगने की सूचना मिली। मुझे बताया गया कि इमारत में आग लगी है और मेरी बहन अंदर फंसी हो सकती है। यहां (अस्पताल) आने के बाद मैंने पाया कि मेरी बहन का नाम आपातकालीन अनुभाग में भर्ती लोगों की सूची में नहीं था। मुझे उम्मीद है कि वह बच गई होगी।’’
कविता के रिश्तेदार भाई पंकज कुमार ने कहा कि उनकी बहन इमारत में सीसीटीवी निर्माण इकाई में काम करती थी और परिवार में एकमात्र कमाने वाली सदस्य थी। उन्होंने कहा, ‘‘उसके पिता के मानसिक स्वास्थ्य संबंधी दिक्कत है और परिवार उसकी आय पर निर्भर था। हमें उन कपड़ों के बारे में विवरण देने के लिए कहा गया है जो उसने कल पहने थे।’’
शुक्रवार को सोशल मीडिया पर सामने आए वीडियो में, इमारत के ऊपर से धुएं के घने गुब्बार निकलते दिख रहे थे। कुछ को बचने के लिए रस्सियों का इस्तेमाल करते देखा जा सकता है जबकि स्थानीय निवासी भी मदद के लिए आगे आए।
पुलिस ने शुक्रवार को कहा कि घटना में कम से कम 27 लोग मारे गए और 12 घायल हो गए।
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