कोलकाता, 14 नवंबर : पश्चिम बंगाल के दक्षिण 24 परगना जिले के जयनगर में तृणमूल कांग्रेस नेता सैफुद्दीन लश्कर (Saifuddin Lashkar) की हत्या के मामले में कॉन्ट्रैक्ट किलिंग का पहलू सामने आया है. सूत्रों ने मंगलवार को यह जानकारी दी. सोमवार को लश्कर की हत्या कर दी गई. इस घटना के कारण उसी दिन जवाबी लिंचिंग और नरसंहार हुआ. जिला पुलिस सूत्रों ने कहा कि लश्कर की हत्या की प्रकृति से यह स्पष्ट है कि हत्या आवेश में नहीं, बल्कि पूर्व नियोजित थी. प्रारंभिक जांच में यह भी पता चला है कि हत्या की जगह और समय को लेकर पहले से प्लानिंग की गई थी, जबकि हत्या स्थल पर आसपास ज्यादा लोग नहीं थे.
जिला पुलिस के एक अधिकारी ने नाम न छापने की शर्त पर कहा, पूरी संभावना है कि हत्यारों ने मारे गए नेता की दिनचर्या का पूरी तरह से होमवर्क किया था और उन्हें पता था कि हर सुबह वह अकेले नमाज अदा करने के लिए एक स्थानीय मस्जिद में जाते थे. पुलिस अधिकारी ने कहा,“दूसरी बात, हत्या की प्रकृति से, जहां उसे बहुत करीब से गोली मारी गई थी, संपर्क हत्यारों की संलिप्तता अधिक स्पष्ट होती जा रही है और संभावना है कि हत्यारे अपराध स्थल के गांव के बाहर से आए थे.'' सोमवार की सुबह लश्कर के मारे जाने के बाद जयनगर इलाका मानो रणक्षेत्र में तब्दील हो गया. लश्कर की मौत की खबर फैलने के बाद, ग्रामीणों का एक वर्ग, विशेष रूप से सत्तारूढ़ दल से जुड़े लोग उग्र हो गए. यह भी पढ़ें : Karnataka Shocker: पुलिस उत्पीड़न से परेशान होकर खुद को आग लगाने वाले कर्नाटक के युवक ने तोड़ा दम
उन्होंने दो स्थानीय ग्रामीणों की पहचान की और उन्हें बुरी तरह पीटना शुरू कर दिया. एक की मौके पर ही पीट-पीटकर हत्या कर दी गई, जबकि दूसरे को पुलिस ने किसी तरह बचा लिया. दो समूहों के बीच झड़प के बाद पूरा इलाका युद्धक्षेत्र में बदल गया. इलाके के कम से कम 10 घरों में आग लगा दी गई. इस बीच हत्याकांड के पीछे सत्ता पक्ष की अंदरूनी कलह का एंगल भी सामने आ रहा है. स्थानीय लोगों द्वारा पीट-पीटकर मारे गए शाहबुद्दीन शेख की पत्नी ने दावा किया है कि उनके मृत पति सक्रिय रूप से तृणमूल कांग्रेस से जुड़े थे. पुलिस ने इस मामले में तीन मामले दर्ज किए हैं. पहला, लश्कर की हत्या से संबंधित, दूसरा, शेख की पीट-पीटकर हत्या करने का और तीसरा, घर जलाने का.