RCB Bengaluru Stampede: कर्नाटक सरकार की रिपोर्ट में भगदड़ के लिए RCB, डीएनए नेटवर्क और केएससीए को जिम्मेदार बताया गया

बेंगलुरु, 17 जुलाई : बेंगलुरु के चिन्नास्वामी स्टेडियम में भगदड़ मचने से संबंधित मामले में पेश की गई स्थिति रिपोर्ट में रॉयल चैलेंजर्स बेंगलुरु (आरसीबी), कार्यक्रम के आयोजक मेसर्स डीएनए नेटवर्क्स प्राइवेट लिमिटेड और कर्नाटक राज्य क्रिकेट संघ (केएससीए) पर पूर्व अनुमति के बगैर या शहर के अधिकारियों को अनिवार्य विवरण दिए बिना आरसीबी की विशाल विजय परेड निकालने का आरोप लगाया गया है. इस भगदड़ में 11 लोगों की मौत हो गई थी. सरकारी सूत्रों ने बताया कि रिपोर्ट उच्च न्यायालय को सौंप दी गई है. रिपोर्ट के अनुसार, अहमदाबाद में आरसीबी और पंजाब किंग्स (पीबीकेएस) के बीच आईपीएल के खिताबी मुकाबले से कुछ घंटे पहले, शाम लगभग 6:30 बजे, डीएनए नेटवर्क प्राइवेट लिमिटेड की ओर से केएससीए ने कब्बन पार्क थाने को एक सूचना पत्र सौंपा.

रिपोर्ट के अनुसार, सूचना पत्र में कहा गया, ‘‘अगर आरसीबी टूर्नामेंट में विजयी होती है, तो आरसीबी/डीएनए एंटरटेनमेंट नेटवर्क्स प्राइवेट लिमिटेड का प्रबंधन एम. चिन्नास्वामी स्टेडियम के आसपास संभावित विजय परेड की योजना बनाना चाहता है, जिसका समापन स्टेडियम में विजय उत्सव के साथ होगा.’’ रिपोर्ट में कहा गया है कि यह एक सूचना मात्र थी और कानून के तहत अनुमति नहीं मांगी गई थी. रिपोर्ट के अनुसार, पुलिस ने, हालांकि अनुमानित भीड़ और कार्यक्रम से जुड़ी महत्वपूर्ण जानकारी के अभाव में अनुमति देने से इनकार कर दिया. रिपोर्ट में कहा गया है कि यह प्रस्ताव भी अल्प सूचना पर प्रस्तुत किया गया था, जिसके कारण उचित कार्यवाही नहीं हो सकी. रिपोर्ट में कहा गया है कि इसके बावजूद, आरसीबी ने चार जून को एकतरफा कार्यवाही करते हुए, सुबह 7:01 बजे से विभिन्न सोशल मीडिया पोस्ट के माध्यम से विधान सौध से चिन्नास्वामी स्टेडियम तक सार्वजनिक 'विजय परेड' निकालने की घोषणा कर दी. रिपोर्ट के अनुसार, अपराह्न 3:14 बजे अंतिम पोस्ट में घोषणा की गई कि परेड शाम पांच बजे शुरू होगी और उसके बाद स्टेडियम में समारोह आयोजित किया जाएगा. रिपोर्ट में कहा गया है कि इस पोस्ट में यह बताया गया था कि नि:शुल्क पास ऑनलाइन उपलब्ध हैं, हालांकि इस पोस्ट से पहले ही भारी संख्या में लोग जमा होने शुरू हो गए थे. यह भी पढ़ें : कर्नाटक सरकार की रिपोर्ट में भगदड़ के लिए आरसीबी, डीएनए नेटवर्क और केएससीए को जिम्मेदार बताया गया

रिपोर्ट में कहा गया है कि विभिन्न सोशल मीडिया पोस्ट को लाखों लोगों ने देखा. रिपोर्ट के मुताबिक, बीएमआरसीएल के यात्रियों से संबंधित आंकड़ों से भीड़ जुटने की बात साबित होती है. रिपोर्ट में बेंगलुरु मेट्रो रेल कॉर्पोरेशन लिमिटेड (बीएमआरसीएल) के आंकड़ों के हवाले से कहा गया है कि चार जून को 9.66 लाख यात्रियों ने मेट्रो से सफर किया, जबकि आमतौर पर रोजाना यह संख्या छह लाख रहती है. रिपोर्ट में कहा गया है, "इसलिए, चार जून को पैदल यात्रा करने वाले, सार्वजनिक परिवहन का उपयोग करने वाले और निजी साधनों के उपयोगकर्ताओं को मिलाकर, अनुमानित संख्या तीन लाख से अधिक हो गई." रिपोर्ट में इस बात पर जोर दिया गया कि आयोजकों ने कानून के अनुसार कभी भी औपचारिक रूप से पुलिस से अनुमति नहीं मांगी. न्यायालय ने स्पष्ट किया कि विशेष रूप से मध्य बेंगलुरु में बड़े सार्वजनिक समारोहों वाले आयोजनों के लिए केवल सूचना देना अनुमति मांगने के समान नहीं है.