जयपुर, 29 नवंबर राजस्थान के मंत्री किरोड़ी मीणा शुक्रवार को भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो के कार्यालय पहुंचे और उन्होंने जयपुर के पशु चिकित्सा महाविद्यालय संचालित करने वाले ट्रस्ट में कथित अनियमितताओं के मामले में गिरफ्तारी की मांग की।
यह पशु चिकित्सा महाविद्यालय एक एनआरआई निवेशक ने बनवाया है।
राज्य के कैबिनेट मंत्री मीणा और निवेशक राज खरे ने एसीबी के महानिदेशक रवि प्रकाश मेहरडा से मुलाकात की और 2020 में दर्ज मामले में कार्रवाई की मांग की। एसीबी ने कहा कि उसने आरोपों की जांच की थी और उनमें सच्चाई नहीं पाई गई थी लेकिन मामले को फिर से खोला गया है।
मीणा के अनुसार, पूर्व मुख्यमंत्री भैरों सिंह शेखावत द्वारा राजस्थान में निवेश करने के आग्रह के बाद अमेरिकी निवेशक ने जयपुर में पशु चिकित्सा महाविद्यालय स्थापित करने में "करोड़ों रुपये खर्च" किए थे।
यह मुद्दा राज्य में ‘राइजिंग राजस्थान ग्लोबल इन्वेस्टमेंट समिट’ के आयोजन से कुछ दिन पहले फिर से उभरा है।
खरे ने ट्रस्ट में गबन का आरोप लगाया है और एक ट्रस्टी के खिलाफ मामला दर्ज कराया है। वह इस मामले में गिरफ्तारी की मांग कर रहे हैं।
मीणा ने संवाददाताओं से कहा कि जब भैरों सिंह शेखावत अमेरिका गए थे तो उन्होंने राज खरे से राजस्थान में निवेश करने को कहा था। इसके बाद खरे ने जयपुर में ‘अपोलो एनिमल मेडिकल कॉलेज’ खोला और करोड़ों रुपये खर्च किए।
मीणा ने कहा, ‘‘ वह अमेरिका में रहते हैं और उनकी अनुपस्थिति में कुछ तत्वों ने ट्रस्ट पर नियंत्रण कर लिया।’’
उन्होंने कहा कि यह ‘‘4-5 हजार करोड़ रुपये की संपत्ति है जो लगभग 32 बीघा भूमि में फैली हुई है।’’
मीणा के एसीबी कार्यालय से चले जाने के बाद खरे सीढ़ियों पर ही बैठ गए और आरोपियों को गिरफ्तार करने की मांग करने लगे।
खरे ने कहा कि इस मामले को लेकर वे मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा से भी मिल चुके हैं, लेकिन अभी तक कोई कार्रवाई नहीं हुई है।
डीजी एसीबी डॉ. रवि प्रकाश मेहरड़ा ने बताया कि जांच में आरोप सही नहीं पाए गए थे इसलिए केस बंद कर दिया गया था और अदालत में अंतिम रिपोर्ट पेश कर दी गई। बाद में केस को फिर से खोला गया और मामले की दोबारा जांच की जा रही है।
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